गाने |
आदि देव विश्वनाथ भक्तन के सदा साथ |
|
|||||
|
|
|||||
प्रभु उठ कर देखो तो कैसी दुहाई मची है |
|
|||||
|
|
|||||
जग गाये गुण तुम्हारा |
|
|||||
|
|
|||||
तू सुख कर नार चपला कैसी चाल ढाल है ये तेरी |
|
|||||
|
|
|||||
गृहिणी सुशीला है अबला |
|
|||||
|
|
|||||
प्यारे जाऊँ वारी सौ वारी तिहारी |
|
|||||
|
|
|||||
प्रभु आठवाँ को दण्डधारी |
|
|||||
|
|
|||||
नैनों में तेरे जादू भरा है |
|
|||||
|
|
|||||
दिल के हमारे तारे हो कुलभूषण जगमोहन |
|
|||||
|
|
|||||
बिगड़ी बनी ना ऐ नाथ मेरे |
|
|||||
|
|
|||||
निकसत ढूँडन कोई प्यारी जान |
|
|||||
|
|
|||||
हुआ जन्म नन्दलाला का |
|
|||||
|
|
|||||
आओ सोओ जी बृज लाला |
|
|||||
|
|
|||||
दुख की घड़ी अब न रही |
|
|||||
|
|
|||||